पिछले 15 सालों में भाजपा अटल जी के सपनों का छत्तीसगढ़ नहीं बना सकी- करुणा शुक्ला
16 अगस्त 2018 के दिन देश के पूर्व प्रधानमंत्री और भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी का निधन हुआ
अटल बिहारी वाजपेयी की भतीजी हैं, करुणा शुक्ला वर्तमान में समाज कल्याण बोर्ड की अध्यक्ष भी हैं
मौजूदा युवा पीढ़ी ने अपनी आंखों से पूर्व प्रधान मंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के दौर को देखा है। रविवार को उनकी पुण्य तिथी पर उनकी भतीजी और छत्तीसगढ़ समाज कल्याण बोर्ड की अध्यक्ष करुणा शुक्ला ने भी अटल बिहारी वाजपेयी को याद किया। दैनिक भास्कर से उन्होंने अटलजी के साथ बिताए कुछ लम्हों को साझा किया। करुणा पूर्व में भाजपा में भी रह चुकी हैं, अब कांग्रेस पार्टी के साथ सियासी मैदान में हैं। मौजूदा राजनीतिक हालातों और अटलजी के सपनों के छत्तीसगढ़ के मुद्दे पर बेबाक राय रखी। पढ़िए उनकी बातें उन्हीं के शब्दों में।
जब अटल जी यहां आते थे
करुणा शुक्ला के पिता अवध बिहारी वाजपेयी, अटल बिहारी के भाई थे। जब कभी परिवार के लोगों के अटल बिहारी मिलने आते तो खास पकवान तैयारी किए जाते थे। करुणा ने बताया कि अटलजी भी खाने के बेहद शौकीन रहे। हम बहनें और सभी बुआ मिलकर खाना तैयार करती थीं। सन 77 की बात है तब मैं कसडोल में थी, अटल जी रायपुर आए थे, मैं यहां उनके लिए आटे का हलवा बनाकर लाई थी।
परिवार के लोगों के साथ राजनीति की चर्चा करना उन्हें पसंद नहीं था। सिर्फ घर की बातें ही होती थीं। हां छत्तीसगढ़ को लेकर उनके मन में विशेष जगह थी, उन्होंने कहा था कि इस राज्य के बनने के बाद वो यहां के लोगों के लिए अच्छे काम करना चाहते हैं। वो अक्सर छत्तीसगढ़ आने पर तब के यहां के वरिष्ठ पत्रकार मधुकर खेर को याद किया करते थे।
सपना नहीं हुआ पूरा
अटलजी को आप आज किस तरह याद कर रही हैं, पूछे जाने पर करुणा शुक्ला ने कहा कि- राज्य निर्माण में अटल जी ने अपना बड़ा योगदान दिया। वो भी उस वक्त जब यहां कांग्रेस की सरकार थी। मगर बीते 15 सालों में डॉ रमन सिंह और भारतीय जनता पार्टी की सरकार ने अटलजी के सपनों का छत्तीसगढ़ बनाने की दिशा में काम नहीं किया। इसका मुझे दुख है।
नक्सलवाद बढ़ा
किस तरह अटलजी के सपने पूरे नहीं हुए पूछे जाने पर करुणा शुक्ला ने कहा छत्तीसगढ़ राज्य में चला सलवा जुडूम अभियान संघ की चाल थी, यह मेरे व्यक्तिगत विचार हैं। इस चाल को कांग्रेस के नेता महेंद्र कर्मा भांप नहीं पाए। इसके बाद प्रदेश में नक्सलवाद की परेशानी बढ़ी। तब की भाजपा सरकार ने इसे बढ़ावा देने का काम किया। लोगों को फ्री की चीजें बांटकर उनके पुरुषार्थ को कम किया, आदिवासी इलाकों में 15 साल ध्यान नहीं दिया।
राज्य गठन का वो अटल वादा
करुणा शुक्ला ने छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण को लेकर कहा कि प्रधानमंत्री बनने के बाद अटल जी ने छत्तीसगढ़ को अलग राज्य बनाने का वादा किया था। 1998 के लोकसभा चुनाव के पहले अटल जी रायपुर में सभा लेने आए। सप्रे स्कूल के मैदान में हुई सभा में उन्होंने जनता से कहा,’आप मुझे 11 सांसद दें, मैं आपको छत्तीसगढ़ राज्य दूंगा…।’ उस चुनाव में भाजपा के 7 ही सांसद चुनकर आए। लेकिन अटल वादे से नहीं मुकरे।
इसके बाद 31 जुलाई 2000 को लोकसभा और 9 अगस्त को राज्यसभा में छत्तीसगढ़ राज्य निर्माण का प्रस्ताव पारित हुआ। अंतत: 1 नवंबर 2000 को छत्तीसगढ़ देश का 26वां राज्य बन गया। 2000 में अटल बिहारी जब रायपुर आए तो अपने संबोधन में जनता से कहा कि ‘आप लोगों ने कुछ कसर बाकी छोड़ी थी, पर मैंने नहीं. आपको छत्तीसगढ़ दे दिया।
अब होगा सपना पूरा
अटल बिहारी वाजपेयी की भतीजी करुणा शुक्ला को मौजूदा कांग्रेस सरकार से उम्मीद है कि अब अटल जी के सपनों का छत्तीसगढ़ बनेगा। उन्होंने कहा कि वर्तमान मुख्यमंत्री भूपेश बघेल छत्तीसगढ़ को जड़ों से विकसित करने का काम कर रहे हैं। नरवा, गुरुवा योजना, गौधन, किसान न्याय योजनाओं से छत्तीसगढ़ उस दिशा में जा रहा है, जिस विकास की कल्पना की गई थी।