खतरे के निशान से नीचे पहुंचा इंद्रावती-शबरी नदी का जलस्तर, पुल से आवाजाही शुरू
कांकेर – बस्तर संभाग में बारिश अब पूरी तरह थम गई है। सबसे ज्यादा प्रभावित रहे सुकमा और बीजापुर जिले में अब बाढ़ का पानी उतरने लगा है। इधर जगदलपुर में इंद्रावती नदी का जलस्तर रविवार शाम 5 बजे तक खतरे के निशान से 2.650 मीटर नीचे आ गया है। पुराने पुल से पानी उतरने के बाद आवाजाही भी शुरू हो गई है। बीजापुर जिले के बाढ़ प्रभावित इलाकों में प्रशासन ने राहत सामग्री पहुंचाने के साथ ही हुए नुकसान का आकलन शुरू कर दी है।
इंद्रावती का पानी खतरे के निशान से 2.650 मीटर नीचे
जगदलपुर से होकर बहने वाली इंद्रावती नदी का जलस्तर रविवार की शाम 5 बजे 5.650 मीटर दर्ज किया गया। केंद्रीय जल आयोग के मुताबिक शनिवार की शाम तक पुल के ऊपर से बह रहे पानी का जलस्तर लगातार घटते क्रम पर रहा और रात करीब 1 बजे पानी पुल से नीचे उतर गया और धीरे-धीरे पूरा पानी बहता चला गया। अब बाढ़ का खतरा टल गया है।
बाढ़ प्रभावित इलाकों में नुकसान का हाल जानने पहुंची टीम, नाव के जरिए राशन भी पहुंचाया
बीजापुर कलेक्टर रितेश अग्रवाल के साथ पूरा प्रशासनिक अमला अलग-अलग बाढ़ प्रभावित इलाकों तक पहुंचकर मौके का जायजा ले रहा है। इसके साथ ही प्रभावितों को मदद देने मैदानी स्तर पर अफसर-कर्मी जुटे हुए हैं। बाढ़ प्रभावित इलाकों में खेतों में हुए नुकसान के अलावा ढहे मकानों और अन्य संसाधनों के नुकसान का आकलन किया जा रहा है। प्रशासनिक अमले ने जरूरतमंदों को राशन, सब्जियां और दवाएं मुहैया करवाई हैं। इस दौरान कोटेर में मुआवजा प्रकरण तैयार करने राजस्व विभाग के अफसर-कर्मी जुटे रहे। इस दौरान एसडीएम हेमेंद्र भुआर्य, नगरसेना कमांडेंट संजय गुप्ता, राजस्व निरीक्षक, पटवारी व बचाव दल जिलेभर में जुटे रहे।
रविवार को संभाग में बारिश थम गई
जिला बारिश (ंमिमी में)
बस्तर 0.1
कोंडागांव 0.2
कांकेर 0.3
नारायणपुर 0.1
सुकमा 0.0
बीजापुर 0.3
दंतेवाड़ा 0.2
6 ब्लॉक में हुई बूंदाबांदी: रविवार को 6 ब्लॉकों में ही हल्की बारिश हुई। बीजापुर ब्लॉक में 1.1, नारायणपुर में 0.2, फरसगांव में 1.0, कोंडागांव में 0.2, बस्तर में 0.5, बड़े बचेली में 1.2 मिमी।