कबीरधाम। 3 अक्टूबर को कवर्धा झंडे को लेकर दो समुदायों में हुई मारपीट के मामले में दुर्गेश देवांगन और साथी की गिरफ्तारी के बाद नया मोड़ आ गया है। विश्व हिंदू परिषद ने DSP कौशल किशोर वासनिक पर दुर्गेश की जमकर पिटाई का आरोप लगाया है।
बता दें कि मंगलवार शाम रायपुर से दुर्गेश और उसके साथी को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया, जिसके बाद दोनों को कबीरधाम लाया गया। खबर मिलते ही मां-बाप वकील के साथ अपने बेटे से मिलने पहुंचे लेकिन उन्हें मुलाकात नहीं करने दी गई। रात के करीब 10 बजे वकील की मुलाकात दुर्गेश से हुई। उसने बताया कि डीएसपी कौशल किशोर वासनिक ने उसकी जमकर पिटाई की है। इसका मतलब साफ है कि पुलिस की अभिरक्षा में दुर्गेश देवांगन सुरक्षित नहीं है, क्योंकि स्वयं पुलिस ही उसकी पिटाई कर रही हैं। मामले की जानकारी लगते ही सांसद भी दुर्गेश से मिलने थाने पहुंचे लेकिन उनसे मुलाकात करने नहीं दी गई।
विश्व हिंदू परिषद ने किया प्रेस कॉन्फ्रेंस –
दुर्गेश की हालत का पता लगते ही विश्व हिंदू परिषद के कार्यकारी प्रदेश अध्यक्ष चंद्रशेखर वर्मा और विहिप कार्यकारणी सदस्य राधेश्याम चन्द्रवंशी ने पीड़ित परिवार से मुलाकात की और प्रेस कॉन्फ्रेंस कर 3 अक्टूबर की दिन की घटना की पूरी जानकारी दी, बताया कि 3 अक्टूबर को स्वयं टीआई सोम ने दुर्गेश को फोन कर बुलाया था और कहा कि 2-4 साथी को साथ लेकर आना। दुर्गेश बुलावे पर लोहारा नाका चौक पहुंचा जहां पर टीआई नायब तहसीलदार और दो आरक्षक खड़े थे, दुर्गेश केवल एक साथ ही को अपने साथ लेकर गया था।
उस स्थान पर पहले से ही दूसरे समुदाय के महिला और पुरुष हथियार लेकर खड़े थे। टीआई ने पूछा कि यहां पर झंडा क्यों लगाया है, जिस पर दुर्गेश ने जवाब दिया था कि नवरात्रि का पर्व आ रहा है। हर साल हम झंडा बदलते हैं। इसलिए यहां पर झंडा लगाया गया है। 2 तारीख की रात को ही कर्मा माता मंदिर के पास दूसरे समुदाय के लोगों ने अपना झंडा लगा दिया था। TI ने झंडा हटाने कहां। नायब तहसीलदार ने कह दिया कि यह जगह विवादित हो गई, दोनों का झंडा हटा दिया जाए। दुर्गेश ने इस पर अपनी सहमति दी लेकिन दूसरे समुदाय के लोगों को कॉपी पेन पर लिखकर यह चाहिए था। एक आरक्षक कॉपी की व्यवस्था करने चला गया। तभी किसी ने आते जाते जय श्री राम दुर्गेश से कहा, जिसका उसने जवाब दिया। दूसरे समुदाय की तरफ से अनर्गल टिप्पणियां और गालियां आने लगी।
दुर्गेश के साथी ने कह दिया कि तुम यहां से चले जाओ इन लोगों का इरादा सही नहीं लग रहा है। दुर्गेश 10 कदम ही निकला था, कि दूसरे समुदाय के लोग पत्थर हथियार के साथ दुर्गेश पर टूट पड़े और उसकी जमकर पिटाई कर दी। पुलिस दर्शक बन गई, किसी और ने दुर्गेश की जान बचाई। उसके बाद का वीडियो तो सभी के पास है।
विश्व हिंदू परिषद ने की दोषियों पर कार्यवाही की मांग –
विश्व हिंदू परिषद का कहना है कि शासन-प्रशासन एक तरफा पक्ष ले रही है और हमारे निर्दोष लोगों की गिरफ्तारी कर रही है। मोहम्मद अकबर को बहुमत से यहां पर जिताया गया उनके कहे बिना कैसे पुलिस मासूमों पर लाठी चार्ज करेगी। इन सभी बातों की उन्हें जानकारी है उन्हें भी अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए। हमारे निर्दोष साथियों को तत्काल छोड़ना चाहिए। वही दुर्गेश के मुलायजा की रिपोर्ट सार्वजनिक करनी चाहिए। साथ ही पुलिस ने जब लाठीचार्ज किया तो उनके आस-पास दूसरे समुदाय के लोग तलवार लहरा रहे थे उन पर भी कार्यवाही हो। उस दिन जितने भी अधिकारी और कर्मचारी थे, जिनकी वजह से यह बड़ी घटना घटी है उन पर भी कार्यवाही होनी चाहिए। हिंदुओं के साथ सिर्फ ऐसा व्यवहार अमाननीय है।
रो-रो कर मां का बुरा हाल –
दुर्गेश की माँ लक्ष्मी देवांगन ने 3 तारीख के घटना की जानकारी देते हुए बताया कि उसने दूसरों के जबान से सुना कि दुर्गेश को कुछ लोग मिलकर मार रहे हैं। उस दिन से आज तक मैं दुर्गेश से नहीं मिली हूं। घटना के 3 दिन बाद तक दूसरे समुदाय के लोग आसपास हथियार लेकर मोहल्ले में घूम रहे थे। मैं डर कर दूसरे के घर पर रह रही थी। लगातार पुलिस आती थी और पूछताछ करती थी। जैसे ही कल मालूम चला कि दुर्गेश की गिरफ्तारी हुई है हम उससे मिलने पहुंचे लेकिन मिलने नहीं दिया गया। वकील को दुर्गेश ने बताया है कि उससे पुलिस ने मारपीट की है। मेरा बेटा निर्दोष है। उसे स्वयं टीआई ने फोन करके उस दिन बुलाया था। उसकी सुरक्षा का दायित्व उनका था लेकिन पुलिस हाथ पर हाथ रख बैठे रही। अब मेरे निर्दोष बेटे को ही आरोपी बनाया जा रहा है, जिसने अपराध किया है उसे सजा दो, निर्दोष को नहीं
एसपी मोहित गर्ग ने कहा –
पुलिस अभिरक्षा में दुर्गेश से मारपीट की बात को एसपी मोहित गर्ग ने पूरी तरीके से खारिज किया है। उनका कहना है कि उसे गिरफ्तार कर सुरक्षित कवर्धा लाया गया। जबरन इस तरह की बातें फैलाई जा रही है, ताकि शहर की शांति भंग हो।