छत्तीसगढ़ बड़ी खबर : वन्य प्राणी तेंदुए की खाल तस्करी करते 3 आरोपी गिरफ्तार, पुलिस व वन विभाग की बड़ी कार्यवाही
राजनांदगांव। खैरागढ़ वन मंडल अंतर्गत पुलिस तथा वन मंडल को बड़ी सफलता मिली है। यहां पर उप वन मंडल गंडई की टीम ने अवैध रूप से तेंदुआ की खाल का परिवहन करते अपराधियों को धर दबोचा है।
मिली जानकारी के अनुसार, सोमवार देर शाम लगभग 8:00 बजे गंडई से सालेहवारा सड़क मार्ग पर स्थित रेंगाखार वनोपज जांच नाका में वाहन चेकिंग की जा रही थी. इसी दौरान मारुति सुजुकी स्विफ्ट वाहन क्र. CG-04-DK 5700 को रोका गया। इस गाड़ी में अवैध तेंदुए की खाल परिवहन किया जा रहा था।अपराधियों को पुलिस ने तेंदुए की खाल के साथ पकड़ा
खैरागढ़ वन मण्डलाधिकारी ने बताया –
वही, खैरागढ़ वन मण्डलाधिकारी दिलराज प्रभाकर ने बताया कि प्रथम दृष्टि प्रतीत होता है कि तेंदुआ, जिसकी खाल पकड़ाई गई है, कि आयु लगभग 4 वर्ष रही होगी। वही, विशेषज्ञ से पुष्टि के लिए सैंपल को जबलपुर लेबोरेटरी भेजा जाएगा।
आरोपियों के नाम –
1. रामअवतार गुप्ता (58 वर्ष) दुर्ग
2. वीरेंद्र कुमार (54 वर्ष) दुर्ग
3. रूकदेव परते (40 वर्ष) बालाघाट, मध्य प्रदेश
वही, तेजराम धुर्वे और गणेश बालाघाट मध्यप्रदेश फरार हो गए। पुलिस फरार अपराधियों की पतासाजी कर रही हैं। उन्होंने कहा कि इन अपराधियों को भी जल्दी ही पकड़ लिया जाएगा।
3 से 7 साल की सजा का प्रावधान –
बता दे कि आरोपियों पर वन्य प्राणी (संरक्षण) अधिनियम 1972 के अंतर्गत तेंदुआ शेड्यूल 1 का वन्यजीव है। अधिनियम अंतर्गत विभिन्न धारा में वन्य के विरुद्ध किए गए अपराध के लिए 3 से 7 वर्ष तक की सजा तथा जुर्माना का प्रावधान है।