
बिलासपुर: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर इंजीनियरिंग कॉलेज के साथ-साथ प्रदेश के 10 पॉलिटेक्निक कॉलेजों को मिलाकर छत्तीसगढ़ इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (CGIT) का निर्माण किया जा रहा है। इस पहल के तहत, छत्तीसगढ़ इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी में बीटेक प्रोग्राम की शुरुआत की जाएगी, जिसमें आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI), इंटरनेट ऑफ थिंग्स (IoT), मशीन लर्निंग (ML), और डेटा साइंस रोबोटिक्स जैसे रोजगारपरक पाठ्यक्रमों का संचालन किया जाएगा।
राज्य सरकार ने इस दिशा में गंभीरता से काम करना शुरू कर दिया है, और विषय विशेषज्ञों द्वारा पाठ्यक्रम तैयार किए जा रहे हैं। छात्रों के लिए एक अच्छी खबर है कि 2025-26 के शैक्षणिक सत्र से वे CGIT में एडमिशन ले सकेंगे।
इस पहल के तहत छत्तीसगढ़ में रोजगार के बेहतर अवसर और विकल्प खुलेंगे। नई शिक्षा नीति के तहत इस दिशा में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं, जिससे राज्य में तकनीकी शिक्षा को प्रोत्साहन मिलेगा। राज्य सरकार और तकनीकी शिक्षा विभाग इस परियोजना पर गंभीरता से काम कर रहे हैं और इस योजना का उद्देश्य प्रदेश को तकनीकी क्षेत्र में अन्य राज्यों के बराबर लाना है।
राज्य सरकार ने 11 कॉलेजों को अपग्रेड करने का निर्णय लिया है, जिसमें बिलासपुर के सरकारी इंजीनियरिंग कॉलेज सहित अन्य 10 पॉलिटेक्निक कॉलेज शामिल हैं। इन कॉलेजों में बीटेक प्रोग्राम की शुरुआत की जाएगी, जिससे छात्रों को अत्याधुनिक तकनीकी शिक्षा प्राप्त होगी।
पहले चरण में छत्तीसगढ़ सरकार ने 5 पॉलिटेक्निक कॉलेजों को शामिल किया है, जिनमें जगदलपुर पॉलिटेक्निक कॉलेज, रायगढ़ पॉलिटेक्निक कॉलेज, कबीरधाम पॉलिटेक्निक कॉलेज, रायपुर पॉलिटेक्निक कॉलेज, और जशपुर पॉलिटेक्निक कॉलेज शामिल हैं। दूसरे चरण में, सरकारी इंजीनियरिंग कॉलेज बिलासपुर, शासकीय पॉलिटेक्निक कॉलेज कोरबा, जीईसी अंबिकापुर, पॉलिटेक्निक कॉलेज दुर्ग, महासमुंद और कांकेर जैसे संस्थानों को अपग्रेड किया जाएगा।
इस नई पहल के साथ ही छत्तीसगढ़ तकनीकी शिक्षा के क्षेत्र में एक मजबूत कदम बढ़ाएगा, जो न केवल छात्रों के लिए नई संभावनाओं के दरवाजे खोलेगा बल्कि रोजगार के नए अवसर भी उत्पन्न करेगा।