गौरेला पेंड्रा मरवाही। मरवाही जिले के ग्राम सेमरदर्री गांव में मंगलवार को राष्ट्रीय टीकाकरण कार्यक्रम के तहत डेढ़ माह के बच्चे की टीका लगने के 24 घंटे बाद बाद मौत हो गई। हालांकि अधिकारियों द्वारा मासूम के टीकाकरण की वजह से मौत का खंडन किया गया है।उन्होंने मौत की वजह अन्य स्वास्थ्य कारणों को बताया है। बच्चे का अभी नामकरण नहीं हुआ था। उसका जन्म विगत 14 जुलाई को हुआ था।
जानकारी के अनुसार मंगलवार 3 सितंबर को सेमरदर्री पंचायत के आंगनबाड़ी केंद्र में बच्चे को कुल पांच टीके दिए गए थे। बच्चे को पल्स पोलियों के साथ ओ.पी.वी, रोटा वायरस वैक्सीन, पेंटावेलेंट, आई.पी.वी, पी.सी.वी मिलाकर कुल पांच टीका लगाया गया।टीका लगने के दूसरे दिन ही बच्चे की तबीयत एकाएक बिगड़ गई। बच्चे को सांस लेने में तकलीफ होने लगी, जिसके बाद परिजन उसे पहले मरवाही अस्पताल लेकर गए। जहां डॉक्टरों ने बच्चे की गंभीर हालत को देखते हुए उसे जिला अस्पताल गौरेला रेफर कर दिया, जहां इलाज के दौरान बच्चे ने दम तोड़ दिया।
टीकाकरण करने वाले रमेश कुमार का कहना है कि सामान्यत: टीकाकरण के बाद बच्चों को मामूली बुखार आता है। जिसके लिए हम उन्हें दवा दिए थे। हालांकि उन लोगों ने दवा नहीं दिया। इसके बाद हमारे पास लाए थे। हमने जिला चिकित्सालय रेफर कर दिया। टीकाकरण से मौत नहीं हुई है। जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ. के.के सोनी का कहना है कि मासूम की मौत का टीकाकरण से का कोई कनेक्शन नहीं है,शायद बच्चों को निमोनिया था। मौत क्यों हुई? परीक्षण के बाद ही बता पाएंगे।ये जांच का विषय है ।
मासूम बच्चे के पिता शरवन आयाम ने बताया कि मंगलवार को उसके डेढ़ माह के बच्चे का नजदीकी आंगनबाड़ी केंद्र में टीकाकरण किया गया था। घर आने के बाद मासूम की स्थिति बिगड़ती गई। इसके बाद बच्चे को इलाज के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया, जहां उसे जिला अस्पताल पेंड्रा रोड रेफर कर दिया गया। जिला अस्पताल में इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई ।बच्चे की मां ने इस बारे में कहा, मेरे बच्चे को मंगलवार को टीका लगाया गया था।
इसके बाद उसको तकलीफ होने लगी। उसको सांस लेने में दिक्कत हो रही थी। इसके बाद उसको अस्पताल में ले गए. इलाज के दौरान मौत हो गई। मासूम महज डेढ़ माह का था। परिवार वालों का आरोप है कि टीकाकरण होने के बाद ही बच्चे की स्थिति ऐसी बिगड़ी की उसकी मौत हो गई। उल्लेखनीय है कि पिछले एक सप्ताह में टीकाकरण से ये तीसरी मौत है।इससे पहले बिलासपुर में दो मासूमों की मौत टीकाकरण के बाद हो चुकी है।