
रायपुर। छत्तीसगढ़ ACB चीफ अमरेश मिश्रा पर लगे आरोपों के मामले में रायपुर कोर्ट में सुनवाई हुई। EOW स्पेशल कोर्ट ने जेल अथॉरिटी को CCTV फुटेज को सिक्योर रखने के लिए निर्देशित किया है। मिश्रा पर कोल स्कैम के किंगपिन कहे जाने वाले सूर्यकांत तिवारी ने धमकाने का आरोप लगाया हैं।
कोल लेवी मामले में जेल में बंद सूर्यकांत तिवारी ने आरोप लगाया है कि जेल अधीक्षक के चैंबर में ACB चीफ ने बुलाकर धमकी दी। दबाव बनाया कि, सौम्या चौरसिया के जरिए भूपेश बघेल को पैसा देने की बात कबूल करूं। वहीं गुरुवार को भूपेश बघेल भी सेंट्रल जेल पहुंचे थे, लेकिन उनकी मुलाकात सूर्यकांत से नहीं हुई।
कोर्ट ने सुनवाई के दौरान जेल से भी प्रतिवेदन मंगवाया था। प्रतिवेदन में बताया गया है कि जेल मैनुअल के नियम 814 के अनुसार IG को जेल अंदर जाने और इंस्पेक्शन करने का अधिकार है। जेल प्रबंधन ने इस बात को भी स्वीकार किया कि रविवार को अमरेश मिश्रा जेल गए थे।
वहीं सूर्यकांत के वकील फैजल रिजवी ने कहा कि, IG को जेल में इंस्पेक्शन करने का अधिकार है, लेकिन विचाराधीन कैदी से मिलने के लिए कोर्ट से परमिशन लेनी पड़ेगी। EOW चीफ अमरेश मिश्रा ने नियम 816 का पालन नहीं किया है। हमने कोर्ट से आग्रह किया है कि जो जेल में और अंदर प्रवेश करने वाले गेट का CCTV फुटेज सुरक्षित रखा जाए।
वहीं सूर्यकांत से जेल प्रबंधन के मुलाकात नहीं कराने पर पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कोल स्कैम केस की जांच कर रहे ACB-EOW के प्रभारी अमरेश मिश्रा पर नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि अमरेश मिश्रा जान बूझकर मेरे खिलाफ साजिश कर रहे हैं। मैं उनके खिलाफ मुख्यमंत्री, CJI, बिलासपुर हाई कोर्ट को पत्र लिखूंगा।
जेल से बाहर आकर बघेल ने कहा कि, मैं पहले से ही टारगेट में हूं, इनके एक नंबर और दो नंबर (नरेंद्र मोदी और अमित शाह) के टारगेट में रहा हूं, अभी भी हूं। मैंने अंदर बंद कांग्रेस विधायक देवेंद्र यादव से बातचीत की। उन्होंने बताया कि सूर्यकांत तिवारी को खूब डराया धमकाया गया। यह स्पष्ट है कि यहां के अधिकारी अपने दायित्वों को छोड़कर, स्वामी भक्ति दिखा रहे हैं।